USA ने कहा-Turkey के President अर्दोआन यहूदी विरोधी, Turkey ने कहा- We Support Philistine
उन्होंने ट्वीट में लिखा है- हमारे राष्ट्रपति पर यहूदी विरोध के लिए आरोप लगाना अतार्किक और असत्य दृष्टिकोण है. ये हमारे राष्ट्रपति के बारे में एक झूठ है.
ओमर सेलिक ने आगे लिखा है- हम अमेरिकी विदेश मंत्री से कहते हैं कि वो ध्यान से हमारे राष्ट्रपति के विचारों को सुनें. अगर ये लोग हमारे राष्ट्रपति की बात ध्यान से सुनते, तो वे भी न्याय और शांति के लिए क़दम उठाते.
उन्होंने अपने ट्वीट में लिखा है- दुनिया में अंतररात्मा वाले लोग कई देशों की राजधानियों में इसराइल के उत्पीड़न के ख़िलाफ़ उसी तरह विरोध करते हैं, जैसे हमारे राष्ट्रपति करते हैं. हमारे राष्ट्रपति की आलोचना करने वालों को अपने विचार छोड़ देने चाहिए.
जब से इसराइल और हमास में संघर्ष छिड़ा है, तर्की ने खुलकर फ़लस्तीनियों का समर्थन किया है.
ग़ज़ा पर हवाई हमले के लिए अर्दोआन ने इसराइल की आलोचना की थी और उसे आतंकवादी देश तक कहा था.
अर्दोआन ने पश्चिमी देशों के रुख़ की आलोचना की थी और कहा था कि कुछ देश ख़ूनी हाथों से इतिहास लिख रहे हैं.
कैबिनेट की बैठक के बाद अर्दोआन ने अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडन की भी आलोचना की और इसराइल को हथियार बेचने की मंज़ूरी देने के लिए उनकी निंदा की.
समाचार एजेंसी रॉयटर्स के मुताबिक़ अर्दोआन ने कहा- आप इस घटना में अपने ख़ूनी हाथों से इतिहास लिख रहे हैं, जो ग़ज़ा पर एक गंभीर असंगत हमला है, जो लाखों लोगों को शहादत की ओर ले जा रहा है. आप मुझे ऐसा कहने पर मजबूर कर रहे हैं.
अर्दोआन ने अमेरिका के बाद ऑस्ट्रिया की ओर रुख़ किया और शुक्रवार को वियना में फ़ेडरल चांसलर के कार्यालय पर इसराइल का झंडा लगाने के कारण उसकी निंदा की.
उन्होंने कहा, "ऑस्ट्रिया उन यहूदियों के लिए मुसलमानों की क़ीमत चुकाने की कोशिश कर रहा है, जिनका नरसंहार हुआ था."
दूसरी ओर ऑस्ट्रिया के चांसलर सेबेस्टिन कुर्ज़ ने कहा है कि इसराइल के साथ एकजुटता दिखाने के लिए ऐसा किया गया. कुर्ज़ को इसराइल समर्थक माना जाता है.
जब से इसराइल और हमास के बीच संघर्ष शुरू हुआ है, तुर्की के राष्ट्रपति अर्दोआन फ़लस्तीनियों के समर्थन में काफ़ी सक्रिय हैं.
उन्होंने पिछले दिनों कई इस्लामिक देशों के प्रमुखों को फ़ोन किया. अर्दोआन ने मलेशिया, जॉर्डन, कुवैत के राष्ट्र प्रमुखों और हमास के राजनीतिक प्रमुख से इसराइल को लेकर बात की है.
तुर्की के राष्ट्रपति कार्यालय से जारी बयान में कहा गया है कि अर्दोआन ने हमास के राजनीतिक ब्यूरो प्रमुख इस्माइल हानिया से भी बात की.
अर्दोआन ने अल-अक़्सा मस्जिद पर इसराइली हमले को 'आतंकी कार्रवाई' बताते हुए इस्माइल हानिया से कहा कि यह हमला केवल मुसलमानों पर नहीं बल्कि पूरी मानवता पर है.
इसराइल और फ़लस्तीनियों के बीच संघर्ष में ग़ज़ा में 200 से ज़्यादा लोगों की मौत हो चुकी है, जिनमें कई महिलाएँ और बच्चे हैं. फ़लस्तीनी स्वास्थ्य मंत्रालय का कहना है कि कई आम नागरिक भी मारे गए हैं.
जबकि इसराइल का दावा है कि उसका निशाना फ़लस्तीनी चरमपंथी संगठन और उनके कमांडर हैं. हमास के रॉकेट हमले में इसराइल में 10 से अधिक लोग मारे जा चुके हैं.
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